नक्सल मोर्चे पर बड़ी कामयाबी 25 कुख्यात माओवादियों ने हथियार डालकर पुलिस के सामने किया आत्मसमर्पण:-
छत्तीसगढ़ के चार ज़िलों में गुरुवार को 25 नक्सलियों ने पुलिस और सुरक्षा बलों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यह नक्सलियों में बढ़ती हताशा और नक्सली विचारधारा से मोहभंग का स्पष्ट संकेत है। छत्तीसगढ़ में सुरक्षा बलों को नक्सलवाद के खिलाफ बड़ी कामयाबी मिली है। गुरुवार को नारायणपुर, सुकमा, बीजापुर और कांकेर जिलों में पुलिस और सुरक्षा बलों के सामने वरिष्ठ कमांडरों और कई महिला कैडरों समेत 25 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया। इन नक्सलियों पर कुल 2.27 करोड़ रुपये से अधिक का इनाम घोषित किया गया था।
कहा जा रहा है कि इतनी बड़ी संख्या में नक्सलियों के आत्मसमर्पण को छत्तीसगढ़ सरकार की पुना मार्गम (नया रास्ता) पुनर्वास पहल और नियाद नेलनार योजना की बड़ी जीत माना जा रहा है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यह नक्सली कार्यकर्ताओं में बढ़ती हताशा और नक्सली विचारधारा से मोहभंग का स्पष्ट संकेत है।
कितने नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण:-
तीन दशकों से शामिल नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण , 1 करोड़ 15 लाख के इनामी सहित 25 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण, आत्मसमर्पण में 13 महिलाएं भी शामिल।
ये सभी नक्सली फायरिंग, आईईडी ब्लास्ट, आगजनी और अन्य हिंसक वारदातों में सक्रिय रूप से शामिल रहे हैं।
आत्मसमर्पण करने वाले में SZCM 01, DVCM 02, PPCM 02, कम्पनी सदस्य 03, ACM 08, एरिया कमिटी पार्टी सदस्य 02, LOS सदस्य 04, जनताना सरकार अध्यक्ष 01, मिलिशिया कंपनी सदस्य 01, जनताना सरकार उपाध्यक्ष 01 शामिल है ।
25 लाख के इनामी रमन्ना ईरपा उर्फ जगदीश सहित 8 लाख के पांच , 5 लाख के सात, 2 लाख के एक एवं 1 लाख के आठ नक्सली शामिल, 25 लाख के इनामी नक्सली रमन्ना उर्फ जगदीश पर 2002 से बस्तर समेत उड़ीसा के 40 बड़ी घटनाओं में था शामिल।
01 जनवरी 2024 से अब तक 803 गिरफ्तार, 431 ने किया आत्मसमर्पण, विभिन्न मुठभेड़ों में 185 नक्सली मारे गए।
आत्मसमर्पण नीति के तहत प्रत्येक नक्सली को 50,000 रुपये की नकद प्रोत्साहन राशि प्रदान की गई है।
नक्सल आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति 2025 के तहत उन्हें प्रशिक्षण एवं रोजगार के अवसर दिये जाएगें:-
छत्तीसगढ़ सरकार की ‘पुना मार्गम’ और ‘नियाद नेल्लनार’ योजनाओं ने नक्सलियों को हिंसा का रास्ता छोड़ने और मुख्यधारा में शामिल होने के लिए प्रेरित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इन योजनाओं के तहत आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को 50,000 रुपये की तत्काल वित्तीय सहायता, कपड़े और अन्य सुविधाएं प्रदान की जाती हैं। इसके साथ ही नक्सल आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति 2025 के तहत उन्हें प्रशिक्षण और रोजगार के अवसर भी दिए जाते हैं।
पुलिस अधिकारियों का कहना है:-
पुलिस अधिकारियों का कहना है- कि इस आत्मसमर्पण से नक्सलियों के मनोबल को बड़ा झटका लगा है और उन्होंने इसका श्रेय सरकार की पुनर्वास नीतियों और मानसून के दौरान भी जारी रहे सुरक्षा अभियानों को दिया है।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का लक्ष्य नक्सलवाद को खात्म करना:-
आपको बता दें कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने 31 मार्च 2026 तक नक्सलवाद को पूरी तरह से खत्म करने का लक्ष्य रखा है। इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए, केन्द्र और राज्य सरकारों ने नक्सलियों को आत्मसमर्पण करने और मुख्यधारा में लौटने के लिए प्रोत्साहित करने हेतु कई पहल शुरू की हैं।